गौ आधारित जहरमुक्त धान ,गेहूँ की फसल में जैविक नाइट्रोजन की पूर्ति देशी गौमाता के गोमूत्र से
१. १० दिन की फसल १ लीटर गोमूत्र और १५ लीटर पानी मिलकर छिड़काव करें।
२. २० दिन की फसल में २ लीटर गोमूत्र और ३० लीटर पानी मिलकर छिड़काव करे।
३. ३० दिन की फसल में ३ लीटर गोमूत्र और ४५ लीटर पानी
इसी प्रकार से आप अपनी फसल के अनुसार छिड़काव कर सकते है।
इस प्रकार छिड़काव करने से नाइट्रोजन की पूर्ति हो जाती है।
आपके के द्वारा सेवा सरकारी समिति से यूरिया बोरी रासायनिक खाद खरीद कर डाला जाता है उसका बाप हैं। इसके उपयोग से होने वाले लाभ
१. जो जमीन काफी सख्त हो चुकी हैं उसे ये मुलायम करता है
२. जमीं में केचुआ की मात्रा बढाता है।
३. गोमूत्र छिड़कने के बाद पानी में बहकर नदी नाले में जाने से कोई प्रदूषण नहीं होता।
४. छिड़कने में किसी प्रकार का त्वचा संबंधी कोई रोग नहीं होता है।
५. इसके सुगंध या दुर्गन्ध से जंगली सूअर फसल को नुकसान नहीं करते है।
६. जहर मुक्त अनाज का उत्पादन होता है जो इम्युनिटी पावर को बढाता है।
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